व्यवस्था बीमार : तीन सीएचसी में 51 लाख की मशीनें लगीं पर एक्सरे नहीं

System is sick: Machines worth Rs 51 lakh installed in three CHCs but no X-ray

उन्नाव। जिले की तीन सीएचसी में एक साल पहले आईं 51 लाख कीमत की एक्सरे मशीनें मरीजों के काम नहीं आ रही हैं। लापरवाही का आलम यह कि कहीं-कहीं टेक्नीशियन न होने से एक्सरे नहीं हो पा रहे हैं तो कहीं मशीन का पंजीकरण न होने से एक्सरे नहीं हो रहे।

प्रयोग न होने से इन एक्सरे मशीनों की अभी तक पैकिंग ही नहीं खुली है। वहीं, इन तीनों सीएचसी क्षेत्र की 2.5 लाख आबादी को निजी जांच केंद्रों में रुपये खर्च कर एक्सरे कराने पड़ रहे हैं। जिम्मेदार सीएचसी प्रभारी पत्राचार कर अपनी जिम्मेदारियों का कोरम पूरा करते और खुद का बचाव करने तक सीमित हैं।


सीएचसी-एक
मशीन दी, टेक्नीशियन नहीं
फतेहपुर चौरासी। क्षेत्र की 90 हजार आबादी की जांच के लिए अमर शहीद गुलाब सिंह लोधी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर एक साल पहले 18 लाख की एक्सरे मशीन आई थी। इसके बाद एक्सरे मशीन लगा दी गई, लेकिन टेक्नीशियन की तैनाती न होने से मशीन किसी काम नहीं आ रही है। मरीजों को निजी पैथोलॉजी से एक्सरे कराने पड़ रहे हैं।
सीएचसी अधीक्षक डॉ. संजीव ने बताया कि मशीन इंस्टाल हो गई है। एक्सरे टेक्नीशियन की तैनाती के लिए निदेशालय से कई बार मांग की है, लेकिन अभी तक तैनाती नहीं हो सकी है।

सीएचसी-दो
11 महीने से मशीन की पैकिंग तक नहीं खुली
सोनिक। बिछिया सीएचसी से जुड़े 57 ग्राम पंचायतों की कुल आबादी करीब 80 हजार है। मरीजों की भीड़ होने से अप्रैल 2024 में 17 लाख की लागत से एक्सरे मशीन मिली थी, लेकिन यह मशीन 11 महीने से पैक रखी हुई हैं। इससे मरीजों को अब भी निजी पैथोलॉजी में ही एक्सरे कराने पड़ रहे हैं। सीएचसी प्रभारी डॉ. नरेंद्र कुमार ने बताया कि मशीन इंस्टाल हो गई है। टेक्नीशियन की तैनाती भी हो गई है। जल्द ही मरीजों को एक्सरे सुविधा मिलने लगेगी।

सीएचसी-तीन
धूल खा रही एक्सरे मशीन
हसनगंज। क्षेत्र की 35 हजार आबादी के लिए मार्च 2024 में एक्सरे मशीन लगी थी। सीएचसी बनने के 15 साल से एक्सरे की सुविधा मिलने की उम्मीद एक साल से धूल खा रही है। 16 लाख कीमत की एक्सरे मशीन की अब तक पैकिंग भी नहीं खुल सकी। इससे मरीजों को निजी जांच केंद्रों से एक्सरे कराने पड़ रहे हैं। सीएचसी प्रभारी डॉ. प्रमोद ने बताया कि एक्सरे टेक्नीशियन रामप्रकाश की तैनाती है, लेकिन मशीन का ऑनलाइन पंजीकरण न होने से एक्सरे नहीं हो रहे हैं। निदेशालय को पत्र भेजा गया है। जल्द ही संचालन शुरू कराया जाएगा।

यहां कभी लो वोल्टेज का बहाना तो कभी टेक्नीशियन नदारद
औरास। सीएचसी में आने वाले मरीजों में रोजाना डॉक्टर औसतन 30 मरीजों को एक्सरे कराने की सलाह देते हैं। इसके लिए 24 अप्रैल 2024 को 18 लाख कीमत की एक्सरे मशीन लगी थी। टेक्नीशियन राजेश कुमार और डार्क रूम सहायक आशीष की तैनाती की गई, लेकिन इसके बाद कभी लो वोल्टेज तो कभी अन्य तकनीकी दिक्कतें तो कभी कर्मचारी के छुट्टी पर होने की वजह से एक्सरे नहीं हो पाते। शुक्रवार को भी मरीजों में राजकुमार, शिवमंगल, सुजीत, रेनू आदि ने बताया कि दोनों कर्मचारी एक्सरे कक्ष में नहीं थे। काफी देर इंतजार करने के बाद भी नहीं आए तो मजबूरी में बाहर से एक्सरे कराना पड़ा। वहीं, सीएचसी प्रभारी डॉ. अनूप कुमार का दावा है कि मरीजों को एक्सरे सुविधा दी जा रही है। हो सकता है कि शुक्रवार को कर्मचारी किसी काम से गए हों। मामले को दिखवाएंगे।

बोले जिम्मेदार
जिन सीएचसी में एक्सरे मशीन भेजी गई थी। वहां इंस्टाल करने व अन्य तकनीकी दिक्कतों को दूर किया जा रहा है। इनमें एक्सरे सुविधा नहीं मिल पा रही है। वहां इसी महीने मशीनों का संचालन शुरू करा दिया जाएगा। औरास में टेक्नीशियन, एक्सरे कक्ष में क्यों नहीं रुकते इसकी भी जांच कराई जाएगी। -डॉ. हरिनंदन प्रसाद, एसीएमओ

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